A Rainy Season Day Essay in Hindi अर्थात इस article में आपके लिए वर्षा ऋतू का एक दिन निबंध हिन्दी भाषा में दिया गया है. Rainy Season (बारिश के मौसम) पर एक निबंध पढने के लिए यहाँ पर click कीजिये: Rainy Season Essay in Hindi – वर्षा ऋतू पर निबंध
वर्षा ऋतु का एक दिन
मई-जून की गर्मी के बाद वर्षा ऋतु आती है । गर्मी के मौसम से छुटकारा पाने के लिए लोग वर्षा ऋतु का बहुत ही बेसबरी से इंतजार करते. है, । जब पहली बरसात होती है तो सब तरफ खुशी की लहर दौड़ जाती है । बरसात के आने से केवल मनुष्य ही नहीं जीव-जंतु, पशु-पक्षी बहुत खुश होते हैं । पेड़-पौधे भी वर्षा ऋतु में नहा धोकर तरोताजा हो जाते है । वृक्ष हरे- भरे लगते हैं । वर्षा ऋतु के आने से बहुत समय से प्यासी धरती पर भी बहार आ जाती है । धरती भी झूमने लगती हैं ।
मिट्टी से खुशबू महक उठती है । फसलें झूम उठती हैं । इसलिए तो इस ऋतु को ऋतुओं की रानी कहकर सम्मान दिया जाता है । एक दिन रात को जब हम सोए तो गर्मी पूरे जोरों पर थी । एक भी पत्ता नहीं हिल रहा था । पंखे के नीचे बैठकर भी शरीर पसीने से लथपथ हो रहा था । आधी रात तक गर्मी के कारण नींद नहीं आई । आधी रात के बाद अचानक ही हवा की एक ठंडी सी लहर आई तो शरीर में जान आ गई । कुछ ही देर बाद आकाश में काले बादल छा गए । पहले धीरे-धीरे हल्की वर्षा हुई और बाद में बहुत तेजी से बरसात होने लगी । इतनी गर्मी के बाद तेज बारिश देखकर मन प्रसन्न हो गया ।
अगले दिन स्कूल मैं अवकाश था । इस अवकाश ने सोने पर सुहागे का काम किया । -उसके -बाद सोने का बहुत आनंद आया । प्रातःकाल ‘नौ बजे तक हम सोए रहे और जब नींद खुली तो हमने तरोताजा महसूस किया । अगले दिन मृगई वर्षा हो रही थी । उस समय मन किया कि कहीं बाहर घूमकर आया जाए । इतने में ही दरवाजे की घंटी बजी तो मेरा दोस्त मुझे बाहर खेलने कै लिए बुलाने .-आया था । हम स भी दोस्त मिल कर वर्षा में नहाए तथा खेलते रहै ।
बाहर उगकर देखा तो हर तरफ पानी ही पानी नजर आ रहा था । लोग रेनकोट पहनकर तथा रंग-बिरंगी छत्तरियां लेकर वर्षा का आनंद ले रहे थे तथा अपने काम-काज पर जा रहे थे । बच्चे वर्षा में नहा रहे थे तथा कुछ बच्चे किश्तियां बनाकर पानी मैं चला रहे थे । अपनी कश्ती को पानी में दूर तक जाते देखकर वे बहुत प्रसन्न हो रहे थे । वर्षा के मौसम को देखते हुए मां ने हलवा तथा पकौड़े बनाए । परिवार कें सभी सदस्यों ने मिल बैठकर हलवा त था पकौड़े खाए । गर्मी से राहत पाकर सभी प्रसन्न नजर आ रहे थे । यह बरसात किसी के लिए प्रसन्नता का विषय है तो किसी के लिए दु:खदायी होती है ।
किसान को अपनी अच्छी फसल के लिए केवल वर्षा का ही सहारा होता है । वह वर्षा को देखकर प्रसन्न होता है । जो लोग झोंपड़ियों में रहते है या जिनके पास घर नहीं होते ऐसे लोगों को वर्षा के कारण कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है । कभी-कभी तो इतनी अधिक वर्षा होती है कि फसलों को नुकसान पहुंचता है । कभी-कभी -वर्षा इतना विकराल रूप धारण करती है कि जिस कारण बाढ़ आ जाती है । बाढ़ के कारण गांव, पशु-पक्षी, लोगों के घर-सामान, सब कुछ क्षतिग्रस्त हो जाता हैं ।
वर्षा के पश्चात पानी जगह-जगह खड़ा हो जाता है जिस कारण मकिव्रयां मच्छर पनपते है तथा अनेक प्रकार -की बीमारियां जन्म लेती हैं । वर्षा कुछ लोगों के लिए राहत तो कुछ के लिए आफत बनकर आती है । इसलिए हम भगवान से यही दुआ करेंगे कि जब भी वर्षा हो बस इतनी ही हो कि लोगों को गर्मी से राहत भी मिल जाए तथा दूसरों का नुकसान भी न हो
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